
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को राज्य के 1.11 करोड़ लाभार्थियों के बैंक खातों में बढ़ी हुई पेंशन की पहली किस्त अंतरित कर दी। इस ऐतिहासिक कदम से प्रदेश के वरिष्ठ नागरिकों, विधवाओं और दिव्यांगजनों को सीधा लाभ मिलेगा। मुख्यमंत्री ने राजधानी पटना में आयोजित एक समारोह के दौरान छह विभिन्न पेंशन योजनाओं के अंतर्गत 1,227 करोड़ रुपये से अधिक की राशि ऑनलाइन जारी की। इसे नीतीश कुमार का बड़ा चुनावी दांव कहा जा रहा है, जिसके जरिए एक और पारी पूरी करने की तैयारी कर रहे हैं।
गौरतलब है कि बिहार सरकार ने हाल ही में पेंशन राशि में बड़ा इजाफा किया है। पहले जहां लाभार्थियों को केवल 400 रुपये प्रतिमाह पेंशन दी जाती थी, वहीं अब इसे बढ़ाकर 1,100 रुपये कर दिया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह निर्णय बुजुर्गों और कमजोर वर्गों को सम्मानजनक जीवन देने की सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। उन्होंने भरोसा दिलाया कि अब हर माह की 10 तारीख तक यह पेंशन राशि लाभार्थियों के खातों में पहुंचा दी जाएगी।

नीतीश कुमार ने कहा, “बुजुर्ग समाज का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। उनका सम्मान और देखभाल हमारी जिम्मेदारी है। सरकार ने पेंशन राशि में तीन गुना वृद्धि कर इस दिशा में बड़ा कदम उठाया है। आने वाले समय में भी हम उनके कल्याण के लिए और कदम उठाएंगे।”
मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में महिलाओं के सशक्तिकरण पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने महिलाओं की शिक्षा, सुरक्षा और रोजगार को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है। उन्होंने दावा किया कि 2005 से पहले की सरकारों ने इस दिशा में कोई ठोस काम नहीं किया था, जबकि उनकी सरकार ने महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में एक मिसाल कायम की है।
उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि राजनीतिक गठजोड़ को लेकर उन्होंने अतीत में गलतियां कीं, लेकिन अब वह पूरी मजबूती से राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के साथ खड़े हैं। “मैं दो बार इधर-उधर भटका, लेकिन अब राजग के साथ हूं और राज्य के विकास के लिए पूरी निष्ठा से काम करूंगा,” मुख्यमंत्री ने कहा।
राज्य का समाज कल्याण विभाग छह पेंशन योजनाएं संचालित कर रहा है। इनमें इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना, मुख्यमंत्री वृद्धजन पेंशन योजना और इंदिरा गांधी राष्ट्रीय विधवा पेंशन योजना प्रमुख हैं। अधिकारियों के अनुसार, मधुबनी जिला सबसे अधिक 5.53 लाख लाभार्थियों के साथ पहले स्थान पर है, जबकि पटना जिले में 5.26 लाख लाभार्थी हैं। शेखपुरा में सबसे कम 71,971 लाभार्थी हैं, जिन्हें कुल 7.95 करोड़ रुपये वितरित किए गए।
विशेषज्ञों का मानना है कि इस पेंशन वृद्धि से राज्य के गरीब और वंचित वर्ग को न केवल आर्थिक सहारा मिलेगा बल्कि उनके जीवनस्तर में भी सुधार आएगा। साथ ही यह निर्णय आगामी विधानसभा चुनावों से पहले सत्ताधारी दल के लिए जन समर्थन बढ़ाने की रणनीति का हिस्सा भी माना जा रहा है।

गांव से लेकर देश की राजनीतिक खबरों को हम अलग तरीके से पेश करते हैं। इसमें छोटी बड़ी जानकारी के साथ साथ नेतागिरि के कई स्तर कवर करने की कोशिश की जा रही है। प्रधान से लेकर प्रधानमंत्री तक की राजनीतिक खबरें पेश करने की एक अलग तरह की कोशिश है।



