
उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में 25 से 29 सितंबर तक ‘इंटरनेशनल ट्रेड शो’ (आईटीएस) का तीसरा संस्करण आयोजित होने जा रहा है। इसकी सभी तैयारियां पूरी हो चुकी हैं और गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसका शुभारंभ करेंगे। इस आयोजन में देश-विदेश से आने वाले मेहमानों को न केवल उत्तर प्रदेश की समृद्ध विरासत का दीदार करने का मौका मिलेगा, बल्कि वे यहाँ के उन्नत कृषि ‘कल्चर’ और तकनीक से भी रूबरू होंगे।
कृषि विभाग की महत्वपूर्ण भूमिका
उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने बताया कि इस इंटरनेशनल ट्रेड शो में कृषि विभाग की एक महत्वपूर्ण भूमिका होगी। विभाग ने अपनी पूरी तैयारी कर ली है, जिसमें प्रदेश की उन्नत कृषि संस्कृति और कृषि क्षेत्र में हुई प्रगति को दर्शाया जाएगा। इस आयोजन में कृषि विश्वविद्यालय, किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ), बीज कंपनियाँ, उर्वरक कंपनियाँ और कृषि यंत्रीकरण कंपनियाँ भी हिस्सा लेंगी।
कृषि विभाग को इस ट्रेड शो में एक हजार वर्ग मीटर का बड़ा क्षेत्र आवंटित किया गया है, जहाँ कृषि शिक्षा, कृषि संबंधी संस्थाओं, मंडी परिषद और कृषि विपणन निदेशालय को भी जगह मिलेगी। यह एक ऐसा मंच होगा, जहाँ पूरा उत्तर प्रदेश एक ही स्थान पर अपनी कृषि क्षमताओं का प्रदर्शन करेगा।
प्रगतिशील किसानों और कंपनियों को मिलेगा अंतरराष्ट्रीय मंच
यह ट्रेड शो प्रदेश के प्रगतिशील किसानों और कृषि से जुड़ी कंपनियों के लिए एक अंतरराष्ट्रीय प्लेटफॉर्म के रूप में काम करेगा। इसमें 15 से अधिक किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ) हिस्सा लेंगे, जिनमें बुलंदशहर, प्रयागराज, एटा, झांसी, मेरठ, महोबा, सहारनपुर, बाराबंकी, गौतमबुद्धनगर और लखनऊ जैसे विभिन्न जिलों के एफपीओ शामिल हैं। इन एफपीओ को अपने कृषि उत्पादों और नवाचारों को वैश्विक स्तर पर प्रदर्शित करने का मौका मिलेगा।

इसके अलावा, इस आयोजन में 17 कृषि यंत्रीकरण कंपनियाँ, 9 बीज कंपनियाँ, 8 उर्वरक कंपनियाँ और 8 कृषि रक्षा कंपनियाँ भी भाग लेंगी। यह कृषि क्षेत्र में हो रहे तकनीकी विकास को भी उजागर करेगा।
प्रमुख कृषि विश्वविद्यालय भी होंगे शामिल
ट्रेड शो में प्रदेश के पाँच प्रमुख कृषि विश्वविद्यालयों की भी भागीदारी सुनिश्चित की गई है। इनमें चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (कानपुर), आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (अयोध्या), सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (मेरठ), बांदा कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (बांदा) और सैम हिंगिंग बॉटम कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (प्रयागराज) शामिल हैं।
इसके साथ ही, उत्तर प्रदेश बीज विकास निगम और अंतरराष्ट्रीय चावल अनुसंधान संस्थान (वाराणसी) भी इस आयोजन का हिस्सा होंगे। यह दिखाता है कि सरकार कृषि क्षेत्र के हर पहलू को प्रदर्शित करने के लिए प्रतिबद्ध है।
कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में यह ट्रेड शो प्रदेश की आर्थिक समृद्धि और कृषि विकास को गति देने वाला साबित होगा। कृषि विभाग ने इस आयोजन के लिए नोडल अधिकारियों को भी नियुक्त किया है, जो संवाद, समन्वय और देखरेख का काम करेंगे। यह आयोजन उत्तर प्रदेश को एक कृषि शक्ति के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

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